देहरादून (महानाद) : हरिद्वार की एक दवा कंपनी के स्वामी से दवाओं के ई-टेंडर के नाम पर 52 लाख रुपये से अधिक की धोखाधड़ी के मामले में पुलिस ने मुख्यमंत्री के पूर्व प्रमुख निजी सचिव पीसी उपाध्याय को गिरफ्तार कर लिया। वहीं, उसके साथी सौरभ वत्स उर्फ सौरभ शर्मा को प्रतापनगर, भीलवाड़ा, राजस्थान में दर्ज मुकदमे में राजस्थान पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया। ठगी में शामिल अन्य आरोपियों की तलाश में पुलिस जगह-जगह दबिश दे रही है।
मामले की जानकारी देते हुए एसएसपी दूहरादून अजय सिंह ने बताया कि सिडकुल, हरिद्वार स्थिति जेआर फार्मास्यूटिकल के स्वामी रामकेवल ने 9 मार्च 2024 को पुलिस को तहरीर देकर बतायाा कि उनके पूर्व परिचित पटियाला निवासी धीरज ऋषि ने उनकी मुलाकात सौरभ वत्स उर्फ सौरभ शर्मा निवासी अठूरवाला, डोईवाला, देहरादून से कराई थी। सौरभ ने खुद को उत्तराखंड सचिवालय में विशेष कार्याधिकारी पद पर कार्यरत बताया था। सौरभ वत्स ने एक दिन उसकी मुलाकात लेन-4, कलिंगा विहार, माजरी माफी, देहरादून निवासी प्रकाश चंद्र उपाध्याय से मुख्यमंत्री कार्यालय में करवाई। सौरभ ने उन्हें बताया कि प्रकाश चंद्र उपाध्याय उत्तराखंड के मुख्यमंत्री का प्रमुख निजी सचिव है।
रामकेवल ने बताया कि उसके बाद एक दिन सौरभ वत्स ने उन्हें मुख्यमंत्री सचिवालय में प्रकाश चंद्र उपाध्याय के पास बुलवाया और उत्तराखंड चिकित्सा विभाग में दवाओं की सप्लाई की टेंडर प्रक्रिया में भाग लेने को कहा। जब उन्होंने ऑनलाइन टेंडर की बात की तो दोनों ने कहा कि वह उसे बिना ई-टेंडर के टेंडर दिला देंगे। उन्होंने पांच करोड़ का टेंडर दिलाने पर 10 प्रतिशत यानी पचास लाख रुपये पहले खर्च करने को कहा। उन्होंने बताया कि इसके बाद उन्होंने उन्हें अलग-अलग लोगों से मिलवाया, जिससे वह उनके झांसे में आ गया।
रामकेवल ने बताया कि फिर उन दोनों ने उनकी कंपनी के नाम से कई टेंडर फॉर्म भरवाए। उसके बाद सबसे पहले सौरभ वत्स, प्रकाश चंद्र उपाध्याय, महेश माहरिया एवं सोनक माहरिया ने 10 लाख रुपये एनईएफटी के माध्यम से खर्च के नाम पर महेश माहरिया के खाते में डलवाए। फिर सौरभ वत्स व नंदिनी वत्स उनकी फैक्टरी सिडकुल हरिद्वार आए। फैक्टरी में सौरभ वत्स ने 10 लाख रुपये लिए। फिर देहरादून सचिवालय बुलाकर टेंडर फीस के नाम पर 2,20,800 रुपये नकद प्रकाश चंद्र उपाध्याय और सौरभ ने लिए। फिर कुछ दिनों बाद इन्होंने अपने ड्राइवर शाहरुख खान को हरिद्वार भेजा, जिसे उसने कुल 9,76,640 रुपये नकद टेंडर फॉर्म फीस के नाम पर दिए। उन्होंने बताया कि उन्होंने अलग-अलग उनसे 51,71,440 रुपये ले लिए।
एसएसपी अजय सिंह ने बताया कि फैक्टरी स्वामी की शिकायत के बाद नगर कोतवाली में आरोपियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर जांच की गई। जांच के बाद बुधवार रात को प्रकाश चंद उपाध्याय को गिरफ्तार कर कोर्ट में पेश कर जेल भेज दिया।
एसएसपी ने बताया कि धोखाधड़ी के मामले में प्रकाश में आए सौरभ वत्स राजस्थान में एक मामले में गिरफ्तार हुआ है। जबकि, अन्य आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए पुलिस की टीमें लगातार दबिश दे रही हैं। जल्द ही अन्य आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया जाएगा।