मोहित गोयल
सल्ट (महानाद) : विगत मंगलवार को मरचूला के साँकर गांव के बालम सिंह की पत्नी कमला देवी सुबह-सुबह अपने खेत जमरिया में काम करने गई थी कि वहां पर घात लगाए बैठक एक बाघ ने मौका पाते ही उस पर हमला कर दिया, कुछ ग्रामीणों के हल्ला करने पर बाघ उसे गंभीर रूप से घायल कर उसी अवस्था में वही छोड़कर भाग गया। जिसके बाद आनन-फानन में महिला को तुरंत रामनगर सरकारी अस्पताल ले जाया गया जहां उसे प्राथमिक उपचार के बाद हायर सेंटर रेफर कर दिया गया। जिसके बाद महिला को काशीपुर स्थित कृष्णा हॉस्पिटल में भर्ती करवाया गया, जहां उसका इलाज चल रहा है। एसडीएम सल्ट गौरव पांडे ने कहा है कि महिला का उपचार हमारी प्राथमिकता है। सरकारी नियम के अनुसार महिला को मुआवजा दिया जाएगा।
प्रत्यक्षदर्शी जहां इसे बाघ का हमला बता रहे हैं। वहीं वनविभाग के हिसाब से इसे गुलदार का हमला माना जा रहा है। विभाग द्वारा इसकी जांच के लिए डीएनए सैंपल भेज दिए गए हैं और जल्द ही इस बात का पता चल जाएगा कि यह हमला बाघ का था या गुलदार का । मौके पर मिले बाघ के बालों के सैंपल भेजे गए हैं जिसकी डीएनए रिपोर्ट 3 से 4 दिन में मिल जाएगी।
इधर घटना से गुस्साए ग्रामीणों ने मरचूला-साँकर मार्ग पर जाम लगा दिया। ग्रामीणों का कहना था कि यदि प्रशासन बाघ को नहीं मार सकता तो वह हमें इजाजत दे दे। क्योंकि जंगली जानवर हमारे खेतों में आ रहे हैं। मामले की गम्भीरता को देखते हुए डीएफओ नीरज कुमार, एसडीओ हरीश नेगी, रेंजर अमूल इस्टवाल और एसडीएम गौरव पांडे, तहसीलदार निशा रानी तुरंत मौके पर पहुंचे और ग्रामीणों को समझा-बुझाकर जाम खुलवाया। प्रशासन ने ग्रामीणों को आश्वासन दिया कि बाघ को पकड़ने के लिए पिंजरे लगाए जाएंगे, ट्रैक कैमरों की मदद ली जाएगी साथ ही स्कूल के बच्चों की सुरक्षा व ग्रामीणों की सुरक्षा को देखते हुए गश्त भी बढ़ाई जाएगी। जिसके बाद ग्रामीणों ने जाम खोला।
वहीं, जमरिया गांव में महिला पर बाघ के हमले के बाद वन विभाग की टीमें, टाइगर रिजर्व और प्रशासन पूरी तरह से मुस्तैद हो गया और बाघ को पकड़ने के लिए अपनी कमर कस ली। रेंजर अमूल इस्टवाल ने बताया कि विभाग द्वारा ट्रैक कैमरे लगा दिए गए हैं और मौके पर पिंजरे भी पहुंचा दिए गए हैं। 4 जोड़ी ट्रैक कैमरे लगाए गए हैं साथ ही स्टाफ की 3 टीमें भी गठित की गई हैं। एक टीम रात भर गांव में ही रहेगी और गश्त करेगी जिसमें 6 से 7 लोग रहेंगे। दो टीमें सुबह और शाम के लिए बनाई गई हैं जो अलग-अलग जगह पर गश्त करेंगी। जिसमें 4 से 5 लोग मौजूद रहेंगे। यह टीमें स्कूल के बच्चों की सुरक्षा से लेकर गांव के सभी लोगों की सुरक्षा के लिए मौजूद रहेंगी। स्कूल के बच्चों को स्कूल तक लाने ले जाने के लिए भी यह टीमें उनके साथ रहेंगी।
वहीं, ग्राम प्रधान मनोज शर्मा ने जमरिया प्राइमरी विद्यालय को आज के लिए बंद करवा दिया। साथ ही एसडीएम द्वारा ऐसी व्यवस्था की गई है कि जो बच्चे जमरिया से साँकर जूनियर हाई स्कूल में आते हैं वे वहीं जमरिया विद्यालय में रहकर पढ़ाई करेंगे और जो बच्चे साँकर से जमरिया प्राइमरी विद्यालय आते हैं वह सारे वहीं रह कर पढ़ाई करेंगे। कुछ समय के लिए जब तक विभाग द्वारा सघन ऑपरेशन चलेगा और स्थिति सामान्य नहीं होगी तब तक यह व्यवस्था बनी रहेगी।
उधर, ग्रामीणों का आरोप है कि वन विभाग की तरफ से बाघ को पकड़ने के लिए जिस तरह की कार्यवाही की उम्मीद थी उस तरह की कार्यवाही नहीं की जा रही है। यह क्षेत्र 3 गांव में बंटा हुआ है जिसमें जमरिया, साँकर और बलूली 3 गांव पड़ते हैं। ग्रामीणों का आरोप है कि विभाग की तरफ से सिर्फ एक पिंजरा जमरिया गांव में लगाया गया है। बाकी साँकर और बलूली में किसी तरह से बाघ को पकड़ने के लिए किसी पिंजरे का इंतजाम नहीं किया गया है।
ग्रामीणों का कहना है कि बाघ ने कल रात फिर एक ग्रामीण पर हमला किया था जिसमें वह बच गया। दूसरी तरफ एक ग्रामीण मुकेश ने कहा की बाघ रात में उसके मुर्गी बाड़े से 8 मुर्गी उठाकर ले गया। गांव वालों का आरोप था विभाग द्वारा ड्रोन कैमरे से निगरानी नहीं की जा रही है। उनका यह भी कहना था कि पिंजरे में जिंदा बकरे की जगह मुर्गी का मीट रखा गया है। इन सभी बातों को लेकर ग्रामीणों ने आज सड़क पर लगभग डेढ़ घंटा फिर जाम लगा दिया।
मौके पर मुकेश सुंदरियाल, संजीव डोभरियाल, बालम रावत, सचिन रावत, घनानंद शर्मा (प्रदेश महासचिव पूर्व सैनिक कल्याण समिति), अमित रावत, शिव सिंह रावत, शांति देवी, धना देवी, भावना रावत, लक्ष्मी रावत व साँकर और जमरिया गांव के सभी ग्रामीण मौजूद थे।