देहरादून (महानाद) : 2 अगस्त से 6 से 12वीं तक के स्कूलों को खोले जाने के निर्णय में संशोधन करते हुए उत्तराखंड सरकार ने अब 2 अगस्त से कक्षा 9 से 12वीं तक के स्कूलों को खोलने का फैसला लिया है। कक्षा 6 से 8वीं तक के स्कूल अब 16 अगस्त से खोले जायेंगे। बच्चों की ऑनलाइन पढ़ाई भी चालू रहेगी। कोरोना की तीसरी लहर के मंडराते खतरे के बीच सरकार ने स्कूलों को खोलने को लेकर एसओपी जारी कर दी है। हांलाकि एसओपी में जितने नियम बनाये गये हैं उनका पालन स्कूल और बच्चों के लिए टेढ़ी खीर साबित होगा।
शासन द्वारा जारी एसओपी के अनुसार –
– कक्षा 9 से 12वीं तक की कक्षाएं अधिकतम 4 घंटे एवं 6 से 8 तक की कक्षाएं अधिकतम 3 घंटे चलेंगी। जो स्कूल दो शिफ्ट में लगेंगे, उन स्कूलों के प्रबंधक समय सारणी में बदलाव कर सकेंगे। स्कूल केवल सोमवार से शुक्रवार तक ही खुलेंगे।
– स्कूलों में सोशल डिस्टेंसिंग, मास्क व सैनिटाइजर का प्रयोग करना अनिवार्य होगा। प्रत्येक स्कूल में एक नोडल अधिकारी बनाया जाएगा।
– ज्यादा छात्र संख्या वाले स्कूलों को दो शिफ्ट में चलाया जाएगा।
– यदि कोई छात्र बिना मास्क के आता है तो उसके लिए मास्क की व्यवस्था स्कूल को करनी होगी।
– बच्चों को सुबह स्कूल में प्रवेश के समय और छुट्टी के समय एक साथ लिया/छोड़ा नहीं जाएगा।
– बच्चों को ऑड-इवन रोल नंबर के हिसाब से बुलाया जा सकता है।
– किसी भी छात्र को स्कूल में उपस्थित होने के लिए बाध्य नहीं किया जाएगा।
– बच्चों को स्कूल बुलाने से पहले उनके अभिभावकों की सहमति ली जाएगी।
– सभी शिक्षकों, कर्मचारियों एवं छात्र/छात्राओं के लिए मास्क पहनना अनिवार्य होगा।
– बच्चों के वाहनों में सोशल डिस्टेंसिंग का पालन होगा, नियमित रूप से वाहनों को सैनिटाइज करना होगा।
– प्रार्थना सभा, बाल सभा, खेल, संगीत, सांस्कृतिक कार्यक्रम एवं अन्य सामूहिक गतिविधियों का आयोजन नहीं किया जायेगा।
– बच्चों से ट्यूशन फीस के अलावा कोई अन्य फीस नहीं ली जाएगी।
– बच्चों को अगले आदेशों तक पका हुआ भोजन नहीं दिया जाएगा।
– बोर्डिंग एवं डे-बोर्डिंग स्कूलों में आवासीय परिसर में निवास करने वाले छात्र-छात्राओं एवं स्कूल कर्मचारियों को अधिकतम 48 घंटे पहले की आरटीपीसीआर निगेटिव रिपोर्ट देने के बाद ही स्कूल में प्रवेश की अनुमति दी जाएगी।
– बोर्डिंग एवं डे-बोर्डिंग स्कूलों के प्रधानाचार्य सहित समस्त स्टाफ व स्कूल में अन्य सेवाओं से जुड़े समस्त कर्मचारियों की वैक्सीनेशन की व्यवस्था सुनिश्चित करनी होगी। जिसका वैक्सीनेशन न हुआ हो तो संबंधित स्कूल प्रबंधक एवं प्रधानाचार्य ऐसे शिक्षकों एवं कर्मचारियों की सूची स्वास्थ्य विभाग को उपलब्ध कराएंगे।
-डेंगू से बचाव के लिए स्कूल में छात्रों को फुल बाजू की पेंट, शर्ट एवं छात्राओं को सलवार कमीज पहनकर स्कूल आना होगा।
– भोजन माताएं स्कूल आएंगी लेकिन भोजन नहीं बनेेगा।
– क्षतिग्रस्त स्कूलों में कक्षाएं नहीं चलेंगी।
इसके अलावा स्कूलों का संचालन हाईब्रिड मोड में किया जाएगा। स्कूलों में पढ़ाई के साथ-साथ ऑनलाइन शिक्षण की व्यवस्था भी की जाएगी। पढ़ाई के दौरान शिक्षक मोबाइल से शिक्षण कार्य को ऑनलाइन लाइव प्रसारित करेंगे। जिससे ऐसे छात्र जो स्कूल में उपस्थित नहीं हो पा रहे हैं वे घर पर रहकर पढ़ाई कर सकेंगे।