विकास अग्रवाल
काशीपुर (महानाद) : पुलिस ने दर्जनों युवतियों को शादी व नौकरी का झांसा देकर ठगने वाले युवक को गिरफ्तार कर कोर्ट में पेश कर दिया। उक्त ठग किसी भेड़िये से कम नहीं है जो युवतियों से पैसे तो ठग ही रहा था उनकी भावनाओं को भी आहत कर उन्हें मानसिक अवसाद के हवाले भी कर रहा था। यह तो शुक्र है एक इस भेड़िये का शिकार बनी हिम्मती बेटी की, जिसने आगे आकर पुलिस से इसकी शिकायत की और एसपी अभय सिंह के नेतृत्व में पुलिस ने त्वरित कार्रवाई कर गिरफ्तार कर लिया, उम्मीद है कि उक्त भेड़िया अब किसी और लड़की को अपना शिकार नहीं बना पायेगा।
आपको बता दें कि एसएसपी उधम सिंह नगर मणिकांत मिश्रा द्वारा काशीपुर में लगाये गये पहले जनता दरबार में दिनांक 12-11-2024, मंगलवार को एक युवती ने प्रार्थना पत्र देकर बताया कि उसने मंगल डॉट कॉम पर अपनी मैरिज प्रोफाईल बनाई थी, जिसको देख कर चारू चन्द्र जोशी नाम के शख्स ने दिनांक 21 मई, 2024 को उससे व्हाट्सएप पर मैसेज कर सम्पर्क किया। उसने बताया कि क्योंकि वह प्राइवेट कंपनी में फार्मासिस्ट की जॉब करती है इसलिए उसकी प्रोफाईल पर देख कर चारू चन्द्र जोशी ने अपने आप को देहरादून में पोस्टेड सरकारी चीफ मेडिकल ऑफिसर बताया और अपने आप को एक सम्भ्रांत परिवार से बता कर उसके साथ व्हाट्सएप पर चेटिंग शुरू कर दी।
युवती ने बताया कि चारू चन्द्र जोशी ने उसे बताया कि उसका परिवार उसके विवाह के लिये लड़की की तलाश कर रहे हैं इसलिए उसने दोनों का सेम प्रोफेशन सोच कर उपरोक्त चारू चन्द्र जोशी से बात करनी शुरू कर दी। धीरे-धीरे चारू चन्द्र जोशी ने उसे अपने ओहदे व पहुँच का इस्तेमाल का झांसा देकर उसे सरकारी जॉब में लगाने का झांसा देना शुरू कर दिया। चारू चन्द्र जोशी ने उससे कहा कि वह उसकी सरकारी जॉब लगवा देगा पर उसमें उसमें खर्चा होगा। जब उसने रुपये देने में असमर्थता व्यक्त की और चारू चन्द्र जोशी से मात्र संविदा पर कार्य करने की इच्छा जाहिर की।
उसनेने बताया कि इस पर चारू चन्द्र जोशी ने दिनांक 31 मई 2024 को उससे 25 हजार रुपये की डिमाण्ड कर, सुमित कुमार जिसे डीजी ऑफिस का सेकेट्री बताया गया, के अकाउन्ट में डालने को कहा, जो उसने डाल दिये। इसके बाद चारू चन्द्र जोशी दो दिन बाद डीजी का हवाला देते हुये उससे कहता है कि वह उसे परमानेन्ट जॉब दिलवा देगा लेकिन उसे 25 हजार रुपये और देने होंगे। ऐसा करते-करते रोज झांसा दे देकर 25.8.2024 तक उससे व उसकी सहेली सरिता पुत्री राजे सिंह से चारू चन्द्र जोशी ने कुल 8 लाख 57 हजार रुपये ले लिये।
युवती ने बताया कि वह और उसकी सहेली चारू चन्द्र के जाल में फंसते चले गये व दोस्तों से व्यवस्था करते रहे, जब उन्हें महसूस हुआ कि उनके साथ धोखाधड़ी की जा रही है तो उसने व उसकी सहेली ने अपने परिवार वालो को सारी बात बताई। जिस पर सारी बात समझते हुये उसके व उसकी सहेली के परिवार को धोखाधड़ी का अंदेशा हुआ तो उन्होंने चारू चन्द्र जोशी का पता लगाया तो पता लगा कि वह एक हिस्ट्रीशीटर है और पूर्व में 50 से ज्यादा महिलाओं को ठग चुका ओर कई युवतियों के साथ दुष्कर्म भी कर चुका है। पूजा ने बताया कि 2022 में हल्द्वानी पुलिस ने चारू चन्द्र जोशी को गिरफ्तार किया था पर वर्तमान में वह स्वतंत्र रूप से घूम रहा है और अपने कार्यों को अंजाम दे रहा है। युवती ने चारू चन्द्र जोशी के खिलाफ कानूनी कार्रवाई कर उसकी व उसकी सहेली की रकम वापस दिलवाने की गुहार लगाई थी।
एसएसपी के आदेश पर पुलिस ने चारू चंद्र जोशी के खिलाफ बीएनएस की धारा 318(4) के तहत मुकदमा दर्ज कर मामले की जांच कोतवाल विक्रम राठौड़ के हवाले की गई। उनके द्वारा एसआई सौरभ कुमार भारती के नेतृत्व में पुलिस टीम का गठन किया गया। पुलिस टीम द्वारा चारू चन्द्र जोशी पुत्र उमेश चन्द्र जोशी निवासी गरूड़ जिला बागेश्वर हाल निवासी फ्रेण्डस कालोनी, दो नहरिया, हल्द्वानी की सुरागरसी-पतारसी करते हुए जनपद नैनीताल में थाना हल्द्वानी, मुखानी में उसके विरुद्ध पंजीकृत एफआईआर की प्रतियां प्राप्त की गयी तथा मुखबिर मामूर किये गये तथा उसे दिनांक 14-11-2024 को गिरफ्तार कर लिया गया। इसके खिलाफ ऋषिकेष में भी धोखाधड़ी सम्बन्धी अभियोग पंजीकृत है।
मामले की जानकारी देते हुए एसपी अभय सिंह ने बताया कि 32 साल का अभियुक्त चारू चन्द्र सिंह मूल रूप से गरूड़, बागेश्वर का रहने वाला है। उसके द्वारा कई लड़कियों से डेटिंग ऐप तथा मेट्रोमोनियल साईट पर ऑनलाईन सम्पर्क कर जान पहचान बढ़ाकर सरकारी नौकरी लगाने व शादी का झांसा देकर अपने जाल में फरसाकर लाखों रूपयों की धोखाधड़ी की जा चुकी है। चारू चन्द्र सिंह के मोबाईल का अवलोकन करने पर पता चला कि उसके द्वारा वर्तमान में 6 अन्य युवतियों से डेटिंग ऐप तथा मेट्रोमोनियल साईट पर ऑनलाईन सम्पर्क कर जान पहचान बढ़ाकर मोबाईल नम्बर प्राप्त कर व्हाट्सएप के माध्यम से चैट कर रहा था। चैट के अवलोकन से पाया कि अभियुक्त द्वारा इन महिलाओं से नौकरी लगाने के नाम पर लगभग 20 लाख रुपये की धोखाधड़ी की गई है। इसके खिलाफ पूर्व में भी धोखाधड़ी व दुष्कर्म करने के मुकदमे दर्ज हैं।
पुलिस टीम में कोतवाल विक्रम राठौड़, एसएसआई सतीश जोशी, एसओजी प्रभारी एसआई रविन्द्र बिष्ट, एसआई सौरभ भारती, देवेन्द्र सिंह सामन्त, हे.कां. विनय कुमार ,कां. कुलदीप, प्रदीप कुमार, सुनील कुमार, प्रवीन गोस्वामी, दीपक जोशी, नरेन्द्र बोरा शामिल थे।