50 लाख के लालच में बेटों ने की थी बीएसएफ के हेड कांस्टेबल की हत्या

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बुलंदशहर (महानाद) : क्राइम ब्रांच ने 6.5 माह से लापता बीएसएफ के हेड कांस्टेबल रामपाल सिंह की हत्या का खुलासा करते हुए उसके छोटे बेटे को गिरफ्तार कर लिया है। जबकि उसका बड़ा बेटा फरार होने में कामयाब हो गया है।

बता दें कि बुलंदशहर के अगौता थाना क्षेत्र के सेगा गांव निवासी रामपाल सिंह (54) पुत्र भूरे सिंह बीएसएफ में हेड कांस्टेबल के पद पर 57 बटालियन जैसलमेर में तैनात था। 1 अप्रैल 2021 को रामपाल सिंह को विशेष कोर्स के लिए बाहर जाना था। जहां वह 28 मार्च 2021 को 1 दिन के लिए अपने गांव सेगा पहुंचा। 29 मार्च को होली के दिन रामपाल का मोबाइल फोन स्विच ऑफ हो गया। रामपाल के गैरहाजिर होने पर बीएसएफ ने बुलंदशहर पुलिस से रिपोर्ट मांगी। लेकिन पुलिस जांच में लापरवाही बरतती रही।

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लापता रामपाल सिंह के भाई वेदप्रकाश ने 20 सितंबर 2021 को एडीजी मेरठ से मुलाकात कर बताया कि उसने अपने भाई के लापता होने के बारे में कई बार अगौता कोतवाल से शिकायत की। लेकिन पुलिस जांच के नाम पर खानापूर्ति करती रही। जब हेड कांस्टेबल रामपाल के मोबाइल फोन की लोकेशन निकलवाई गई तो 29 मार्च की रात 11 बजे उसकी लोकेशन रामपाल के घर की ही आई। रात 11 बजे के बाद मोबाइल स्विच ऑफ आया। उसके बाद रामपाल सिंह को किसी ने कहीं नहीं देखा। मोबाइल की लोकेशन पुलिस को भी उपलब्ध कराई गई। लेकिन उसके बाद भी पुलिस मामले को दबाने में लगी रही।

वहीं, रामपाल के चचेरे भाई जितेंद्र ने पुलिस अधिकारियों से शिकायत कर कहा कि मुझे शक है कि मेरे भतीजों ने मेरे भाई की हत्या कर दी है। लेकिन अगौता पुलिस ने आरोपियों से सांठगांठ कर शिकायत करने वाले जितेंद्र को ही थाने में बैठा लिया। रामपाल के भाइयों की शिकायत के बाद आखिर कार जांच क्राइम ब्रांच को सौंपी गई। जिसके बाद क्राइम ब्रांच ने हेड कांस्टेबल रामपाल के छोटे बेटे हिमांशु उर्फ आकाश व उसके 4 दोस्तों को हिरासत में ले लिया। वहीं सोमवार को 40-50 गांववाले रामपाल के हत्यारे बेटे और अन्य की पैरवी करने एसएसपी बुलंदशहर के दफ्तर पहुंच गये। उनका कहना था कि रामपाल का भाई वेदप्रकाश और चचेरा भाई जितेंद्र फर्जी तरह से बदनाम कर रामपाल के बेटों को फंसाने की कोशिश कर रहे हैं। लेकिन पुलिस अधिकारियों ने आरोपियों की पैरवी करने वाले गांववालों को फटकार कर कर भगा दिया।

क्राइम ब्रंाच ने जब रामपाल के बेटे व उसके दोस्तों से सख्ती से पूछताछ की तो मामला खुल गया। पुलिस की जांच में सामने आया है कि रामपाल सिंह गांव मढोना में जमीन खरीदनने वाला था। जिसके लिए घर में 50 लाख रुपये नकद रखे थे। रामपाल के बेटे रोशेंद्र तथा हिमांशु उर्फ आकाश ने उक्त जमीन को खरीदने से मना कर दिया। और फिर घर में रखे 50 लाख रुपये हड़पने की नीयत से आधी रात को सोते समय रस्सी से गला घोंटकर हत्या अपने पिता की हत्या कर दी। और फिर दोनों बेटों ने अपने 4 दोस्तों के साथ मिलकर अपने पिता के शव को घर से ढाई किमी दूर कुएं में फेंक दिया। पुलिस ने छोटे बेटे हिमांशु उर्फ आकाश की निशानदेही पर सोमवार रात्रि 3 बजे रामपाल के शव को कुएं से बरामद कर लिया। वहीं बड़ा बेटा पुलिस को देखकर फरार हो गया।

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