सलीम अहमद
रामनगर (महानाद) : नवजात शिशु की मौत के बाद डॉक्टरों पर कार्यवाही की मांग को लेकर नवजात के परिजनों और बसपा कार्यकर्ताओं ने सरकारी अस्पताल में जमकर हंगामा किया और महिला चिकित्सक पर लापरवाही का आरोप लगाते हुए कार्यवाही की मांग को लेकर कोतवाली पुलिस को तहरीर दी।
बता दें कि ग्राम सुंदरखाल निवासी वीरेंद्र ने पुलिस को तहरीर देकर बताया कि उसकी पत्नी दीपा देवी गर्भवती थी और उसका इलाज सरकारी अस्पताल में महिला चिकित्सक से चल रहा था। शुक्रवार को सुबह 10 बजे वह अपनी पत्नी को लेकर सरकारी अस्पताल पहुंचे और चेकअप कराया लेकिन डॉक्टर ने उसे पांच दिन बाद आने को कहा और बताया कि ऑपरेशन करना होगा। जिसके बाद वह अपनी पत्नी को लेकर घर चला गया। उसी शाम 4 बजे उसकी पत्नी ने दर्द की शिकायत की तो वह उसे लेकर फिर से सरकारी अस्पताल पहुँचा तो अस्पताल प्रशासन ने उसकी पत्नी को भर्ती करने से मना कर दिया और कहीं बाहर ले जाने को कहा।
वीरेंद्र ने बताया कि इसके बाद वह अपनी पत्नी को लेकर पीरूमदारा स्थित साईं अस्पताल ले गया जहां डिलीवरी के दौरान नवजात शिशु की मौत हो गई। वीरेन्द्र ने आरोप लगाया कि यदि समय रहते अस्पताल प्रशासन उनकी पत्नी को भर्ती कर लेता तो उनका बच्चा जीवित होता और उनकी पत्नी की हालत भी ऐसी नहीं होती।
शुक्रवार की देर शाम पीड़ित वीरेंद्र को लेकर बसपा नेता हेम भट्ट के नेतृत्व में कार्यकर्ताओं ने अस्पताल में जमकर हंगामा काटा और चिकित्सकों पर कार्रवाई की मांग को लेकर धरने पर बैठ गए। सूचना पर मौके पर पहुंचे कोतवाली के एसआई राजवीर सिंह ने उन्हें समझाने का प्रयास किया लेकिन उन्होंने उनकी एक ना सुनी और कोतवाली पुलिस को तहरीर देकर कार्यवाही की मांग की। पुलिस द्वारा मामले की जांच की जा रही है।